Mobile Tariff Hike 2025 भारत में मोबाइल यूजर्स को जल्द ही टैरिफ बढ़ोतरी का सामना करना पड़ सकता है। टेलीकॉम कंपनियों द्वारा साल 2025 के अंत तक मोबाइल रिचार्ज प्लान्स की कीमतों में इजाफा किए जाने की संभावना है। जानकारी के मुताबिक, नवंबर से दिसंबर 2025 के बीच प्रीपेड और पोस्टपेड प्लान्स की दरों में 10% से 20% तक बढ़ोतरी हो सकती है। यह पिछले छह सालों में चौथी बार होगा जब प्रमुख टेलीकॉम कंपनियां अपने टैरिफ बढ़ाएंगी।
महंगे होंगे मोबाइल रिचार्ज प्लान्स
टेलीकॉम कंपनियों के लिए लागत बढ़ना और 5G नेटवर्क के विस्तार की जरूरत इस बढ़ोतरी की मुख्य वजहें बताई जा रही हैं। भारती एयरटेल, रिलायंस जियो और वोडाफोन आइडिया जैसी कंपनियां स्पेक्ट्रम खरीद, नेटवर्क विस्तार और रेगुलेटरी खर्चों में भारी निवेश कर रही हैं। वोडाफोन आइडिया को हाल ही में 36,950 करोड़ रुपये का स्पेक्ट्रम बकाया सरकार को शेयर में बदलने की मंजूरी मिली है, जिससे सरकार की हिस्सेदारी कंपनी में 22.6% से बढ़कर करीब 49% हो गई है।
टैरिफ बढ़ोतरी क्यों जरूरी है?
Bernstein Research की एक रिपोर्ट बताती है कि यह बढ़ोतरी “रेट रिपेयर” रणनीति का हिस्सा है, जिससे कंपनियों की कमाई को स्थिर किया जा सके। रिपोर्ट में अनुमान है कि आने वाले वर्षों में धीरे-धीरे टैरिफ और बढ़ेंगे, और 2027 तक प्रति यूजर औसत इनकम (ARPU) 300 रुपये तक पहुंच सकती है।
2024 की आखिरी तिमाही में एयरटेल का ARPU 5.2% बढ़कर 245 रुपये पहुंच गया, जबकि जियो का 203 रुपये और वोडाफोन आइडिया का 163 रुपये रहा। जैसे-जैसे 5G सेवाएं और डेटा का इस्तेमाल बढ़ रहा है, इन आंकड़ों में और तेजी देखी जा सकती है।
दिसंबर तक तैयार हो जाइए महंगे रिचार्ज के लिए
वोडाफोन आइडिया के CEO अक्षय मूंद्रा ने कहा है कि भारत जैसे देश में हर 9 महीने में टैरिफ बढ़ाना जरूरी है ताकि नेटवर्क की गुणवत्ता बनाए रखी जा सके और IoT व एंटरप्राइज सेवाओं को बेहतर किया जा सके। ऐसे में मोबाइल यूजर्स को साल के अंत में अपने टैरिफ प्लान्स के महंगे होने के लिए तैयार रहना चाहिए। हालांकि कंपनियों का मानना है कि यह कदम ग्राहकों को बेहतर सेवा देने के लिए उठाया जा रहा है।